आज लाखों भारतीय छात्रों के दिल धड़क रहे हैं! जी हाँ, NEET UG 2025 का रिजल्ट आखिरकार आ गया है। शनिवार सुबह 10 बजे NTA ने ऑफिशियल वेबसाइट पर परिणाम जारी किए। राजस्थान के माहेश कुमार ने 720 में से 686 अंक लेकर ऑल इंडिया रैंक 1 हासिल की है। इस साल 22 लाख से ज्यादा स्टूडेंट्स ने एग्जाम दिया था, जिनमें से सिर्फ 12.36 लाख (55.9%) ही पास हो पाए। पिछले साल के मुकाबले कट-ऑफ भी काफी नीचे आया है। जो बच्चे पास नहीं हो पाए, उनकी आँखों में निराशा है, जबकि टॉपर्स के घरों में मिठाइयाँ बँट रही हैं। अब सबकी निगाहें मेडिकल काउंसलिंग पर टिकी हैं जो जुलाई में शुरू होगी।
किसान के बेटे ने रचा इतिहास: माहेश कुमार बने एयर 1
राजस्थान के छोटे से गाँव से आने वाले माहेश कुमार ने आज पूरे देश का सिर गर्व से ऊँचा कर दिया है। पिता खेती करते हैं और माँ घर संभालती हैं। माहेश बताते हैं, "हमारे घर में बिजली भी ठीक से नहीं आती थी। मैं लालटेन की रोशनी में पढ़ाई करता था।" उन्होंने 99.9999547 परसेंटाइल हासिल की है। दूसरे नंबर पर मध्य प्रदेश के उत्कर्ष अवधिया और तीसरे पर महाराष्ट्र के कृष्णांग जोशी रहे। दिल्ली की अविका अग्रवाल ने एयर 5 के साथ टॉप फीमेल स्टूडेंट का खिताब जीता। उनकी आँखों में सपना साफ दिखता है: "मैं AIIMS दिल्ली से पढ़ाई करके गाँव के गरीबों का इलाज करूँगी।" टॉप 10 में दिल्ली के 3, महाराष्ट्र और गुजरात के 2-2 स्टूडेंट्स शामिल हैं। ये सभी बच्चे मिडल क्लास फैमिली से ताल्लुक रखते हैं, जिन्होंने बिना महँगे कोचिंग के सिर्फ हार्ड वर्क से सफलता पाई।
क्यों इस बार गिरा पास परसेंटेज? कट-ऑफ में ऐतिहासिक गिरावट!
पिछले साल जहाँ 56.4% स्टूडेंट्स पास हुए थे, वहीं इस बार सिर्फ 55.9% ही क्वालीफाई कर पाए। एक्सपर्ट्स के मुताबिक, फिजिक्स का पेपर काफी टफ था जिसमें ज्यादातर सवाल न्यूमेरिकल टाइप के थे। बायोलॉजी ही रही स्टूडेंट्स की जान! कट-ऑफ में तो 18 साल के NEET के इतिहास में सबसे बड़ी गिरावट देखी गई। जनरल कैटेगरी का कट-ऑफ 144 अंक पर आ गया जो पिछले साल 162 था। मतलब इस बार कम अंक लाने वालों को भी मौका मिलेगा। सबसे ज्यादा पास आउट स्टूडेंट्स उत्तर प्रदेश से हैं (1.70 लाख), उसके बाद महाराष्ट्र (1.25 लाख) और राजस्थान (1.19 लाख) का नंबर आता है। इसके आलावा इस वर्ष 6 ट्रांसजेंडर उम्मीदवार सफल हुए।
अब क्या होगा? काउंसलिंग की तैयारी शुरू
NTA के चेयरमैन प्रोफेसर सुधीर कुमार ने बताया, "स्कोरकार्ड डाउनलोड करने के लिए स्टूडेंट्स neet.nta.nic.in पर अपना रजिस्ट्रेशन नंबर और जन्मतिथि डालें।" अब सबकी निगाहें काउंसलिंग पर हैं। MCC (मेडिकल काउंसलिंग कमेटी) जुलाई के पहले हफ्ते में ऑल इंडिया काउंसलिंग शुरू करेगी। ये काउंसलिंग सिर्फ गवर्नमेंट कॉलेजों की 15% सीटों के लिए होगी। बाकी 85% सीटों के लिए अलग-अलग राज्यों की अपनी काउंसलिंग होगी। दिल्ली के एक टीचर डॉक्टर राजीव शर्मा कहते हैं, "जिन बच्चों के कम नंबर आए हैं, वे निराश न हों। PVT कॉलेजों में भी अच्छे ऑप्शन्स हैं।" वहीं, बिहार के राहुल कुमार जिन्हें सिर्फ 2 अंकों से कट-ऑफ नहीं मिला, वो कहते हैं, "अगले साल फिर कोशिश करूँगा। माँ-बाप का सपना पूरा करके ही दम लूँगा।"
सिर्फ एक पड़ाव है NEET, जिंदगी नहीं
आज का दिन भारत के हर गाँव-शहर के उन लाखों परिवारों के लिए ऐतिहासिक है जो अपने बच्चे को डॉक्टर बनते देखने का सपना संजोए हैं। जिन बच्चों को सफलता मिली, उनके चेहरों की चमक देखने लायक है - वो चमक जो रात-रात भर जागकर पढ़ाई करने का नतीजा है। और जो इस बार पीछे रह गए, उनके लिए ये कोई अंत नहीं है। NEET का रिजल्ट सिर्फ एक एग्जाम का नतीजा है, जिंदगी का नहीं। जैसे राजस्थान के माहेश ने लालटेन की रोशनी में सफलता का परचम लहराया, वैसे ही हर संघर्षशील बच्चे में ये ताकत होती है। अब बस एक ही सवाल सबके दिमाग में है: कौन सा मेडिकल कॉलेज मिलेगा? जल्द ही काउंसलिंग के जरिए ये सवाल भी हल हो जाएगा।
